Divine Melodies: Chhath Maiyya Ki Aarti (छठी मैया की आरती) - Gyan.Gurucool
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धार्मिक मान्‍यताओं के अनुसार छठी (Chhath) मैया सूर्यदेव की बहन हैं और ब्रह्मा जी की मानस पुत्री हैंपौराणिक कथा के अनुसार सृष्टि की रचना के समय ब्रह्मा जी ने अपने शरीर को दो हिस्‍सों में बांट दिया था|

उनके दाएं हिस्‍से से पुरुष और बाएं हिस्‍से से प्रकृति का जन्‍म हुआ| प्रकृति ने अपने आप को छह हिस्‍सों में बांट दिया| प्रकृति देवी के छठवें हिस्‍से को षष्‍ठी देवी कहा गया| षष्‍ठी देवी को ही छठी (Chhath) देवी कहा जाता है|

 

छठ का ये पर्व लोक आस्‍था का प्रतीक है| छठ के त्‍योहार में पहले दिन नहाय-खाय, दूसरे दिन खरना, तीसरे दिन डूबते सूर्य और चौथे दिन उगते सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है| इसी के साथ छठ पर्व का समापन हो जाता है|

बिहार, झारखंड और पूर्वी उत्‍तर प्रदेश में ये पर्व धूमधाम से मनाया जाता है| इस व्रत के दौरान छठी मैया और सूर्य देव की पूजा की जाती है| प्रकृति देवी के छठवें हिस्‍से को षष्‍ठी देवी कहा गया| षष्‍ठी देवी को ही छठी देवी कहा जाता है|

 

छठी (Chhath) देवी को शिशुओं की अधिष्ठात्री देवी कहा गया है| बच्चों की रक्षा करना इनका स्वाभाविक गुण धर्म है| इन्‍हें देवसेना के नाम से भी जाना जाता है|

मान्‍यता है कि मइया की पूजा करने से बच्‍चों को दीर्घायु प्राप्‍त होती है और उन्‍हें आरोग्‍य का वरदान मिलता है| जिन महिलाओं की संतान नहीं है, छठी देवी की पूजा से उन्‍हें संतान की प्राप्ति होती है|

महाभारत काल में जब अभिमन्यु की पत्नी उत्तरा के गर्भ में में पल रहे बच्चे का वध कर दिया था, तब भगवान श्रीकृष्‍ण ने उत्‍तरा को छठी  माता का व्रत रखने की सलाह दी थी|

chhath maiyaa puja

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छठी मैया की आरती

ओम जे सुगनी जे रोएली वियोग से, आदित होई ना सहाय।

ओम जे नारियर जे फरेला खबद से, ओह पर सुगा मंडराए॥जय॥

मारबो रे सुगवा धनुख से, सुगा गिरे मुरझाए।

ओम जे सुगनी जे रोएली वियोग से, आदित होई ना सहाय॥जय॥

अमरुदवा जे फरेला खबद से, ओह पर सुगा मंडराए।

मारबो रे सुगवा धनुख से, सुगा गिरे मुरझाए॥जय॥

 

ओम जे सुगनी जे रोएली वियोग से, आदित होई ना सहाय।

शरीफवा जे फरेला खबद से, ओह पर सुगा मंडराए॥जय॥

मारबो रे सुगवा धनुख से, सुगा गिरे मुरझाए।

ओम जे सुगनी जे रोएली वियोग से, आदित होई ना सहाय॥जय॥

ओम जे सेववा जे फरेला खबद से, ओह पर सुगा मेड़राए।

मारबो रे सुगवा धनुख से, सुगा गिरे मुरझाए॥जय॥

ओम जे सुगनी जे रोएली वियोग से, आदित होई ना सहाय।

सभे फलवा जे फरेला खबद से, ओह पर सुगा मंडराए॥जय॥

मारबो रे सुगवा धनुख से, सुगा गिरे मुरझाए।

ओम जे सुगनी जे रोएली वियोग से, आदित होई ना सहाय॥जय॥

 

Chhath Maiyya ki Aarti

Om jay chhaṭhii maataa  jay jay chhaṭhii maataa
Tum santan  hitakaarii tum santan  hitakaarii
Ṭuuṭe n ye naataa , om  jay chhaṭhii maataa
Om  jay chhaṭhii maataa maiyaa  jay chhaṭhii maataa
Tum santan  hitakaarii tum santan  hitakaarii
Chhuuṭe n ye naataa , om  jay chhaṭhii maataa

Kaartik shashṭhii ko maiyaa vrat teraa aataa
Maiyaa vrat teraa aataa
Nirjalaa vrat jo rakhataa nirjalaa vrat jo rakhataa
Phal uttam paataa
Om jay chhaṭhii maataa

Chaturthii ke din  paavan nahaay khaay aataa
Maiyaa nahaay khaay aataa
Baad divas  jo aaye baad divas  jo aaye
Kharanaa kahalaataa
Om jay chhaṭhii maataa

Ṭhekuaa naariyal ganne se suup bharaa jaataa
Suup bharaa jaataa
Ḍaliyaa maathe  sajaake ḍaliyaa maathe  sajaake
Ghaaṭ pe jag  jaataa
Om jay chhaṭhii maataa

Sandhyaa ko jal men khade ho ,argh diyaa jaataa
Maiyaa argh diyaa jaataa
Praat argh se chhaṭh  vrat praat argh se chhaṭh  vrat
Sampann ho   jaataa
Om jay chhaṭhii maataa

 

बच्‍चे के जन्‍म के बाद घर-घर में छठवें दिन बच्‍चे की छठी पूजी जाती है| छठी पूजी जाने का मतलब छठी माता की पूजा से होता है| पूजा करने के बाद बच्‍चे को माता छठी  का आशीर्वाद प्राप्‍त होता है|

मान्‍यता है कि जिस पर छठी मइया की कृपा होती है, तो उस बच्‍चे के सारे संकअ दूर हो जाते हैं| माता स्‍वयं अप्रत्‍यक्ष रूप से उसके साथ रहती हैं और उसकी सुरक्षा करती हैं|

यह चार दिनों का त्योहार है और इसमें साफ-सफाई का खास ध्यान रखा जाता है। इस त्योहार में गलती की कोई जगह नहीं होती।

इस व्रत को करने के नियम इतने कठिन हैं, इस वजह से इसे महापर्व और महाव्रत के नाम से संबोधित किया जाता है।

मान्यता है कि छठ देवी सूर्य देव की बहन हैं और उन्हीं को प्रसन्न करने के लिए जीवन के महत्वपूर्ण अवयवों में सूर्य व जल की महत्ता को मानते हुए, इन्हें साक्षी मान कर भगवान सूर्य की आराधना।

उनका धन्यवाद करते हुए मां गंगा-यमुना या किसी भी पवित्र नदी या पोखर ( तालाब ) के किनारे यह पूजा की जाती है।

Chhath Maiyya ki Aarti

छठी मैया की आरती

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